रिपोर्ट-शौकीन खान/कौशल किशोर गुरसरांय
गुरसरांय(झांसी)। दश लक्षण पर्यूषण पर्वराज के समापन होने पर नगर के समाज के द्वारा श्री 1008 पारसनाथ भगवान,श्री 1008 मुनि सुब्रत नाथ भगवान,श्री 1008 शांतिनाथ,भगवान को विमान पालकी में विराजमान करके सभी जैन समाज गाजे बाजे डीजे ढोल नगाडो़ के साथ सभी भक्त जयकारे जय घोष के साथ हुए श्रीजी के पीछे पीछे चलते नजर आए भक्तों में बहुत ही हर्षोल्लास नजर आ रहा था ऐसा लग रहा था कि सौ धर्में ईशान इंद्र,शनद कुमार इंद्र,महेंद्र इन्द्र सनत कुमार इंद्र श्री जी को पांडुक शिला पर ले जाकर अभिषेक एवं शांतिधारा करने का सौभाग्य राजेश मोदी,रवि जैन करगुवां,मनोज जैन बंकापहाड़ी,प्रथम जैन बिंदास शांति धारा राज कुमार मोदी,दीपक जैन नुनार इन सभी को अभिषेक करने का सौभाग्य प्राप्त हुआ नगर में जैन समाज एवं सर्व समाज द्वारा जगह जगह स्टाल लगाकर फल,ठंडा वितरण करके स्वागत किया गया। श्री जी को गुरसरांय के मैन बाजार,बस स्टैंड मोदी चौराहा होते हुए श्री 1008 मुनि सुब्रतनाथ नाथ जैन मंदिर मैं पांडव शिला पर श्री जी को विराजमान करके श्री जी का 1008 कलशों से मस्तिका अभिषेक एवं शांतिधारा की गई है अभिषेक शांतिधारा करने के बाद कटरा बाजार होते हुए श्री 1008 पारसनाथ दिगंबर जैन मन्दिर में भगवान को बिराजमान किया गया इस अवसर पर थानाध्यक्ष पूँछ अरुण कुमार तिवारी,थानाध्यक्ष गुरसरांय सुरेन्द्र प्रताप सिंह,विद्युत उपखण्ड अधिकारी गुरसरांय ललतेश कुमार यादव,नगर पालिका अध्यक्ष गुरसरांय प्रतिनिधि सतेन्द्र प्रताप सिंह राजा नारायणपुरा एवं भिंड से पधारे हुए आचार्य श्री 108 विशुद्ध सागर जी महाराज के परम प्रभावक शिष्य पंडित पंकज जैन शास्त्री जी का दिगंबर जैन समाज अध्यक्ष चक्रेश जैन, संरक्षक गुलाबचंद जैन एवं समस्त दिगंबर जैन समाज द्वारा इन सभी को तिलक माला,प्रशस्ति पत्र एवं शॉल उड़ाकर सम्मानित किया। इस मौके पर चक्रेश जैन मोदी,महेंद्र सिंघई,पंडित नितुल व्यास,जिनेंद्र नुनार,प्रिंस जैन नुनार, सुनील जैन उर्फ डीकु जैन, ललित होंडा,बंटू सुट्टा,कल्लू सेरिया,मिंटू सेरिया,सक्षम सेरिया,गोलू,प्रथम,छम्मा,रानू,साटू,संजीव अकोडि,नेहिल सिंघई,राजू सुट्टा,रविंद्र जैन सीटू,प्रतीक जैन,मुकेश सरसेड़ा,रमेशचंद्र जैन अटरसुवा,दीपक जैन नुनार,सम्यक नुनार,अंजू सिंघई, मंजू, सरोज,जयंती,चेतना,दीपा नुनार एवं समस्त महिला,पुरुष, बच्चे भक्तिमय नजर आये। वहीं अनंत चतुर्दशी के पर्व पर भिंड से पधारे हुए पंडित पंकज जैन के द्वारा सेकड़ों नवयुवकों एवं बच्चों को अभिषेक शांति धारा का नियम दिलाया गया जिन शासन एवं बहू बेटी मंडल द्वारा दश लक्षण पर्व में नाटिका का पूरे पर्वराज में मनोरंजित किया गया।